खराब नतीजा असफलता नहीं होता ।
नतीजे उम्मीद के मुताबिक न हों तो निराशा स्वाभाविक है । यह मुश्किल का कारण तब बनता है जब हम इसके लिए केवल खुद को जिम्मेदार मानने लगते हैं ।
जानिए इससे बचने के बारे में ………….
- हर काम आपके चलते ही नहीं होता । न ही हर नतीजा आपकी उम्मीदों के मुताबिक हो सकता है । इस सोच से भी आप अपनी योग्यताओं पर संदेह करने लगेंगे ।
- खुद को जिम्मेदार समझना हमारा नजरिया होता है । इसकी बजाय दूसरों के काम में मदद करें । इंर्पोटेंट यह है कि टारगेट्स को हासिल करने में आप कैसे मदद कर सकते हैं ।
- खराब नतीजों के बारे में सोचकर आप उसके असली कारणों की अनदेखी कर रहें हैं। यह जानकारी ही दोबारा गलती करने से बचेंगे और नहीं बातें सीख पाएंगे ।
https://youtu.be/qwHd9D8FkSo
- हर नतीजे को आप प्रभावित नहीं कर सकते , लेकिन उसे देखने का अपना नजरिया बदल सकते हैं । बेहतर नतीजों के लिए क्या करना जरूरी है , इसका रास्ता ढूंढ सकते हैं ।
- आप हर काम अच्छा नहीं कर सकते , न ही कोई एक नतीजा आपकी योग्यता को माप सकता है । यह संभव है कि दूसरे लोग किसी प्रोजेक्ट में आपसे बेहतर नतीजे दें सके ।
- दूसरों के आकलन को लेकर ज्यादा चिंतित न हों । अपनी ओर से बेस्ट ट्राय करना ही आपके कंट्रोल में है। दूसरे सवाल इसलिए उठाते हैं , क्योंकि उन्हें ट्राय करने का मौका नहीं मिला ।
- असफलता में सीखने के मौके ज्यादा होते हैं। इनसे मिली सीख ही आगे चलकर कामयाबी का रास्ता तैयार करती है । हसलिए खराब नतीजे आपको अगली जिम्मेदारी बेहतर तरीके से निभाने में मददगार होंगे ।